प्रेस विज्ञप्ति (दिनांक :07/06/2024)
पीसीसी की बैठक में प्रोजेक्ट को स्वीकृति
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जियाडा द्वारा गठित प्रोजेक्ट क्लियरेंस कमिटी की बैठक जियाडा कार्यालय में क्षेत्रीय निदेशक सुधीर कुमार की अध्यक्षता में हुई। बैठक में फेडरेशन ऑफ झारखण्ड चैंबर ऑफ कॉमर्स एण्ड इडस्ट्रीज के अध्यक्ष किशोर मंत्री मुख्य रूप से शामिल हुए। बैठक में प्रस्तुत किये गये सभी 16 प्रोजेक्ट्स के आवेदनों को स्वीकृति दी गई। स्वीकृति किये गये प्रोजेक्ट्स पतरातू, कोकर, तुपुदाना, बरही औद्योगिक क्षेत्र में स्थापित किये जायेंगे। इन प्रोजेक्ट्स में मुख्यतः सीमेंट प्लांट, होटल एण्ड रेस्तरां, फर्नीचर मैनुफैक्चरिंग, हैंडीक्राफ्ट टेंपल, हेवी एंड लाइट व्हिकल बॉडी बिल्डिंग, वेयरहाउसिंग एंड लॉजिस्टीक, फैब्रिकेशन वर्क्स, प्लास्टिक वाटर टैंक, पेट्रोल पंप, वॉल पुट्टी एंड रस्टिक मैनुफैक्चरिंग के उद्योग स्थापित होंगे।
चैंबर अध्यक्ष किशोर मंत्री ने प्रोजेक्ट क्लियरेंस कमिटी को महत्वपूर्ण बताते हुए इस बैठक का आयोजन प्रत्येक माह करने का आग्रह किया। यह भी कहा कि पीसीसी की बैठक में लिये जानेवाले निर्णयों का तुरंत एक्शन टेकन रिपोर्ट बनाया जाय ताकि कार्यों में तेजी आ सके, जिसपर जियाडा के क्षेत्रीय निदेशक ने सहमति जताई। चैंबर अध्यक्ष ने राज्य के सभी जिलों में 100 एकड का औद्योगिक क्षेत्र आवंटित करने के साथ ही उसमें 5 से 20 हजार स्कवॉयर फीट तक के भूखंड छोटे छोटे उद्योगों को आवंटित करने को भी जरूरी बताया। जिसपर क्षेत्रीय निदेशक ने अवगत कराया कि तत्काल में रामगढ के गोला क्षेत्र, चतरा और खूंटी में अतिरिक्त औद्योगिक क्षेत्र की उपलब्धता हेतु कार्रवाई आरंभ कर दी गई है। चैंबर अध्यक्ष ने बिजली विभाग के कार्यपालक अभियंता से यह आग्रह किया कि सरकार की सोलर बेस्ड योजनाओं के अनुसार ग्रामीण इलाकों और औद्योगिक क्षेत्रों में सोलर पैनल लगाये जाएँ ताकि बिजली पर से निर्भरता कुछ कम हो सके।
बैठक में जियाडा के क्षेत्रीय उप निदेशक श्वेता बैद्य, एमएसएमई के इंद्रजीत यादव, पॉल्यूशन बोर्ड से रामप्रवेश सिंह, बिजली विभाग के कार्यपालक अभियंता गौरव कुमार, बैंक ऑफ इंडिया, जिला उद्योग केंद्र के अलावा जेसिया के पूर्व अध्यक्ष रंजीत टिबडेवाल, अजय दधीच एवं अन्य औद्योगिक संगठनों के पदाधिकारी उपस्थित थे।
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कृषि उद्योग आधारित व्यवसाय के प्रोत्साहन हेतु चैंबर भवन में शिविर का आयोजन
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राष्ट्रीय बागवानी बोर्ड योजना, कृषि विपणन अवसंरचना योजना, कृषि अवसंरचना निधि योजना, कृषि क्लिनिक और कृषि व्यवसाय केंद्रीय योजना और प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य प्रसंस्करण उद्यम योजना से अधिकाधिक किसानों और व्यापारियों को लाभान्वित करने के उद्देश्य से सोमवार, 10 जून को सुबह 11 बजे से चैंबर भवन में एक दिवसीय शिविर का आयोजन किया जा रहा है।
चैंबर अध्यक्ष किशोर मंत्री और अहारी उप समिति के चेयरमेन आनंद कोठारी ने प्रेस को संबोधित किया। अहारी उप समिति के चेयरमेन आनंद कोठारी ने बताया कि शिविर में भाग लेने के लिए प्रतिभागियों के लिए निबंधन शुल्क 1000 रू0 निर्धारित किया गया है। निबंधन की अंतिम तिथि 9 जून है। शिविर में प्रगतिशील किसान, बेरोजगार युवा, कृषि इनपुट व्यापारी, खाद्य व्यापारी, फल और सब्जी व्यापारी, कृषि उद्यमी, एफपीसी, जो सरकार की इन योजनाओं का लाभ उठाने में रूचि रखते हैं, उन्हीं को आमंत्रित किया गया है। उन्होंने यह भी बताया कि झारखण्ड में कमर्शियल खेती, बागवानी कृषि विपणन अवसंरचना, माइक्रो फूड प्रोसेसिंग उद्योग की असीम संभावनाएं हैं। चैंबर की अहारी उप समिति के द्वारा इसका बीडा उठाया गया है। केंद्र एवं राज्य सरकार की सभी कृषि विकास, कृषि विपणन अवसरंचना एवं माइक्रो फूड प्रोसेसिंग उद्योग, एग्री एक्सपोर्ट की योजनाओं का राज्य के प्रत्येक जिले, प्रखण्ड एवं गांवों में क्रियान्वयन कराकर राज्य की ज्वलंत पलायन एवं गरीबी की समस्या का निराकरण कराया जाय।
चैंबर अध्यक्ष किशोर मंत्री ने कहा कि इन योजनाओं के तहत राज्य के सभी जिलों में कोल्ड स्टोरेज का निर्माण, सभी प्रखंड में गोदाम का निर्माण, सभी जिलों में पॉली हाउस में हाइटेक मुनाफा, सब्जी एवं फूल की खेती, सभी गांवों में लघु दाल मिल, तेल मिल, राइस मिल, फल-सब्जी, प्राइमरी प्रोसेसिंग यूनिट, 5 एकड से अधिक भूमि वाले कृषकों के जमीन में व्यवसायिक खेती को विकसित करवाया जायेगा।
शिविर में उक्त योजनाओं के केंद्र एवं राज्य सरकार के पदाधिकारी एवं बैंक्स के पदाधिकारी प्रतिभागियों को मार्गदर्शन देने के लिए एवं योजनाओं की संपूर्ण जानकारी देने के लिए उपस्थित रहेंगे।
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परेश गट्टानी विकास विजयवर्गीय
महासचिव प्रवक्ता
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